Friday, September 20"खबर जो असर करे"

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लोकतंत्र में नेताओं की जन छवि का सवाल

लोकतंत्र में नेताओं की जन छवि का सवाल

अवर्गीकृत
- प्रभुनाथ शुक्ल भारतीय लोकतंत्र जागरूक और मजबूत है। यह सुखद और भविष्य के लिए अच्छी बात है। लेकिन हमारे राजतंत्र में राजनेताओं की स्थिति और छवि क्या बनती जा रही है, यह बड़ा सवाल है। लोकतंत्र को राजनेता नहीं जनता खुद धोखा दे रही है। जिसके हाथ में हम सत्ता सौंपने जा रहे हैं उसकी जन छवि क्या है। राजनीति में रहते हुए उसने कौन-सा विकास कार्य किया है। पांच साल के लिए जिस पर हमने भरोसा जताया वह हमारे लिए कितना खरा उतरा। समस्याओं का समाधान एवं चुनावी वायदों की गाड़ी कहां तक पहुंची, इसका खयाल हमें नहीं रहता। एसोसिएशन फॉर डेमोक्रेटिक रिफॉर्म्स (एडीआर) की हालिया रिपोर्ट हमारे जनतंत्र का होश उड़ाने वाली है। लेकिन, वह हमारे लिए इतनी चिंता का विषय नहीं होगी। हमें सिर्फ शोर में जीने की आदत हो गई है। हम जमीन पर खड़े हैं कि नहीं यह आकलन भी हमें नहीं है। क्योंकि हम खुद अपनी चिंताओं में उलझे हैं कि देश और समा...
मैं मुख्यमंत्री और आप जनता नहीं, हम एक परिवारः शिवराज

मैं मुख्यमंत्री और आप जनता नहीं, हम एक परिवारः शिवराज

देश, मध्य प्रदेश
- मुख्यमंत्री ने ब्यावरा में 33.78 करोड़ के विकास कार्यों का किया लोकार्पण/भूमि-पूजन भोपाल (Bhopal)। मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान (Chief Minister Shivraj Singh Chouhan) ने कहा कि "मैं मुख्यमंत्री और आप जनता नहीं, हम सब एक परिवार हैं। सरकार को आपका भाई, आपका मामा चला रहा है। आज आपका स्नेह और प्रेम देखकर मैं अभिभूत हूँ। मेरी बहनों ने मुझ पर फूलों की वर्षा की है, मैं संकल्प लेता हूँ कि उनके मार्ग में कभी काँटे नहीं आने दूँगा। प्रदेश में विकास पर्व मनाया (Vikas Parv celebrated) जा रहा है, जिसमें विकास कार्यों (development works) के साथ ही जनता की समस्याओं का अधिकतम समाधान (Maximum solution to public problems) होगा।" मुख्यमंत्री चौहान सोमवार को राजगढ़ जिले के ब्यावरा में विकास यात्रा के बाद विकास पर्व में अपार जन-समुदाय को संबोधित कर रहे थे, जिसमें बड़ी संख्या में बहनें उपस्थित थीं। मुख्यमंत...
सतही राजनीति और जनाकांक्षाओं की कसौटी

सतही राजनीति और जनाकांक्षाओं की कसौटी

अवर्गीकृत
- गिरीश्वर मिश्र भारत की जनता में सहते रहने की अदम्य शक्ति है और वह सबको अवसर देती है कि वे अपने वादों और दायित्वों के प्रति सजग रहें परंतु जनप्रतिनिधि होने पर भी ज्यादातर राजनेता जन-प्रतिनिधित्व के असली काम को संजीदगी से नहीं लेते हैं । चुनावी सफलता पाने के बाद वे यथाशीघ्र और यथासंभव सत्ता भोगने के नुस्खे आजमाने लगते हैं । ऐसे में जन-सेवा का वह संकल्प और जज्बा एक ओर धरा रह जाता है जो धूमिल रूप में ही सही उनके मन कभी तैर रहा होता था । दरअसल वे एक व्यापारी की तरह सोचने और काम करने लगते हैं। बिगड़ैल काल देवता से भयभीत वे राजनीति के व्यवसाय से (अपने लिए) समयबद्ध ढंग से अधिकाधिक धन-धान्य या समृद्धि उगाहने में दत्तचित्त जुट जाते हैं । पर आगे क्या हो सकता है इसका दर्दनाक उदाहरण पश्चिम बंगाल में जेलबंद शिक्षा मंत्री और उनके सहयोगियों से मिलता है। जिस तरह शिक्षक नियुक्ति के मामले में करोड़ों रुप...
‘मन की बात’ और राष्ट्रबोध

‘मन की बात’ और राष्ट्रबोध

अवर्गीकृत
- डॉ. सौरभ मालवीय किसी भी राष्ट्र की उन्नति के लिए आवश्यक है कि प्रधानमंत्री की बात सीधे जनता तक पहुंचे और जनता की बात सीधे उन तक तक पहुंचे। इससे दोनों के मध्य तालमेल बना रहता है। इससे जनता को पता चलता है कि प्रधानमंत्री उनके लिए क्या सोचते हैं तथा उनके लिए क्या कार्य करे रहे हैं। इसके साथ ही प्रधानमंत्री को ज्ञात होता है कि जनता को उनसे क्या अपेक्षा है। प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी विचारों के धनी हैं। उनकी वाकपटुता अद्भुत है। उनके भाषणों में उनके इस सद्गुण को देखा जा सकता है। वह ‘मन की बात’ नामक रेडियो कार्यक्रम के माध्यम से विभिन्न विषयों पर जनता से बात करते हैं। मई 2014 में प्रधानमंत्री बनने के बाद मोदी ने जनता से सीधा संपर्क करने के लिए आकाशवाणी पर ‘मन की बात’ कार्यक्रम प्रारम्भ किया था। प्रथम बार अक्टूबर 2014 को प्रधानमंत्री ने ‘मन की बात’ के माध्यम से जनता को संबोधित किया गया। 30 अप्र...
जनकल्याण के अस्त्र शस्त्र हमारे पास, पूरे उत्साह के साथ जनता के बीच जाएं: शिवराज

जनकल्याण के अस्त्र शस्त्र हमारे पास, पूरे उत्साह के साथ जनता के बीच जाएं: शिवराज

देश, मध्य प्रदेश
- भाजपा विधायक दल की बैठक संपन्न भोपाल (Bhopal)। हमने समाज के प्रत्येक वर्ग के लिए जन कल्याण के अनगिनत काम (innumerable works of public welfare) किये हैं, इसलिए हमारे अस्त्र-शस्त्रों (weapons) की कमी नहीं है। हमें पूरे उत्साह और दमदारी (vigor and vigor) के साथ जनता के बीच अपनी उपस्थिति दर्ज कराना है। हाल ही की विकास यात्रा में जो प्रतिसाद हमें मिला वह अभूतपूर्व था। आज जो आर्थिक सर्वेक्षण (economic survey) प्रस्तुत हुआ है, उसने नंबर वन मध्यप्रदेश की इबारत लिख दी है। यह बात मंगलवार शाम को भाजपा कार्यालय में हुई विधायक दल की बैठक (legislature party meeting) को सम्बोधित करते हुए विधायक दल के नेता मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान (Chief Minister Shivraj Singh Chouhan) ने कही। बैठक को भाजपा प्रदेश अध्यक्ष विष्णुदत्त शर्मा और प्रदेश संगठन महामंत्री हितानंद शर्मा ने भी संबोधित किया। मुख्यमंत्री चौ...
जनता की खुशहाली के लिए खोला आनंद विभाग: शिवराज

जनता की खुशहाली के लिए खोला आनंद विभाग: शिवराज

देश, मध्य प्रदेश
- आईएएस समिट के सांस्कृतिक कार्यक्रम में शामिल हुए मुख्यमंत्री चौहान भोपाल (Bhopal)। मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान (Chief Minister Shivraj Singh Chouhan) ने कहा कि प्रदेश की साढ़े आठ करोड़ जनता (eight and a half million people) की खुशहाली बढ़ाना हमारा उद्देश्य है। इसके लिए हमने प्रदेश में आनंद विभाग (pleasure department) खोला है। आनंद विभाग की ओर से प्रदेश के गांव- गांव में आनंद उत्सव होंगे। टीम मध्यप्रदेश जनता की खुशहाली के लिए दिन-रात काम करने में लगी हुई है। मुख्यमंत्री चौहान शनिवार देर शाम भोपाल कुशाभाऊ ठाकरे अंतरराष्ट्रीय कन्वेंशन सेंटर में आईएएस समिट के सांस्कृतिक कार्यक्रम संबोधित कर रहे थे। इस मौके पर मुख्यमंत्री चौहान की धर्मपत्नी साधना सिंह चौहान और आईएएस अधिकारियों के परिजन उपस्थित थे। सांस्कृतिक कार्यक्रमों से कम होता है तनाव मुख्यमंत्री ने कहा कि सांस्कृतिक कार्यक्रमों से...
टीम मप्र जनता का भाग्य और भविष्य बदलने के लिए तेजी से जुट जाए : शिवराज

टीम मप्र जनता का भाग्य और भविष्य बदलने के लिए तेजी से जुट जाए : शिवराज

देश, मध्य प्रदेश
- जनता को कोई असुविधा न हो, समय-सीमा में मिले जन-कल्याणकारी योजनाओं का लाभः मुख्यमंत्री भोपाल (Bhopal)। मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान (Chief Minister Shivraj Singh Chouhan) ने कहा कि नव वर्ष में निर्धारित रोडमेप (Roadmap set in the new year) के साथ राज्य सरकार की जन-कल्याणकारी योजनाओं (Public welfare schemes of the state government) और कार्यक्रमों का बेहतर ढंग से क्रियान्वयन किया जाए। हमारा जीवन तभी सार्थक होगा, जब हम अपनी शत- प्रतिशत क्षमता से अपनी ड्यूटी का निर्वहन करें। हर क्षेत्र में हमारी उपलब्धियाँ हैं, इन उपलब्धियों के लिए टीम मध्यप्रदेश को बधाई देता हूँ। हम अपनी उपलब्धियों को आकर्षक ढंग से प्रस्तुत और प्रचारित करें। सरकार की प्राथमिकता अनुसार रोडमेप बना कर पूरी क्षमता के साथ जुट जाएँ। हम उन महत्वपूर्ण लोगों में से हैं, जो मध्यप्रदेश को बदल कर जनता को सुखी बना सकते हैं। जनता का भाग...
आमजन से जुड़ा है डाक विभाग

आमजन से जुड़ा है डाक विभाग

अवर्गीकृत
- रमेश सर्राफ धमोरा भारत में डाक विभाग के महत्व को मशहूर शायर निदा फाजली के शेर सीधा-साधा डाकिया जादू करे महान, एक ही थैले में भरे आंसू और मुस्कान से समझा जा सकता है। शायर निदा फाजली ने जब यह शेर लिखा था उस वक्त देश में संदेश पहुंचाने का डाक विभाग ही एकमात्र साधन था। डाकिये के थैले में से निकलने वाली चिट्ठी पढ़कर कोई खुश होता था तो कोई दुखी। हमारे देश में पहले डाक विभाग का इतना अधिक महत्व था कि फिल्मों तक में डाकिये पर कई मशहूर गाने फिल्माये गये हैं। मगर अब नजारा पूरी तरह से बदल चुका है। इंटरनेट के बढ़ते प्रभाव ने डाक विभाग के महत्व को बहुत कम कर दिया है। आज लोगों ने चिट्ठियां लिखनी छोड़ दी हैं। अब ई-मेल और माध्यमों से मिनटों में लोगो में संदेशों का आदान प्रदान हो जाता है। 09 अक्टूबर को पूरी दुनिया में विश्व डाक दिवस मनाया जाता है। वर्ष 1874 में इसी दिन यूनिवर्सल पोस्टल यूनियन का गठन करने क...

हिंदी दिवस जनता कैसे मनाए?

अवर्गीकृत
- डॉ. वेदप्रताप वैदिक हर 14 सितंबर को देश में हिंदी दिवस मनाया है। हिंदी को लेकर अच्छे-खासे भाषण भी दिए जाते हैं। लेकिन हिंदी का ढर्रा जहां था, वहीं आकर टिक जाता है। भारत की अदालतों, संसद और विधानसभाओं, सरकारी काम-काज में, पाठशालाओं और विश्वविद्यालयों में सर्वत्र अंग्रेजी का बोलबाला बढ़ता चला जा रहा है। अब तो आजादी के 75 साल में अंग्रेजी की गुलामी हमारे घर-द्वार बाजार में भी छाती चली जा रही है। हम लोग इस गुलामी के लिए सरकारों को दोषी ठहराकर संतुष्ट हो जाते हैं लेकिन क्या हमने कभी सोचा है कि इस मामले में हमारी भूमिका क्या रही है? जनता की भूमिका क्या रही है? यदि भारत की जनता जागृत रही होती तो यह भाषाई गुलामी कभी की दूर हो जाती। फिलहाल हम सरकार को छोड़ें और यह सोचें कि हिंदी के लिए भारत की जनता क्या-क्या कर सकती है? इस संबंध में मेरे कुछ सुझाव निम्नानुसार हैं:- 1. सारे भारतवासी संकल्प करें कि...