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विश्व होम्योपैथी दिवस विशेष: रोग की जड़ पर प्रहार

विश्व होम्योपैथी दिवस विशेष: रोग की जड़ पर प्रहार

अवर्गीकृत
- योगेश कुमार गोयल हर साल 10 अप्रैल को होम्योपैथी के जनक जर्मन मूल के महान चिकित्सक और उत्कृष्ट वैज्ञानिक डॉ. क्रिश्चियन फ्रेडरिक सैमुअल हैनीमैन की जयंती ‘विश्व होम्योपैथी दिवस’ मनाया जाता है। होम्योपैथी को संपूर्ण चिकित्सा प्रणाली के रूप में स्थापित करने का श्रेय डॉ. हैनीमैन को ही जाता है। इस दिवस के आयोजन का उद्देश्य चिकित्सा की इस अलग प्रणाली के बारे में लोगों में जागरुकता पैदा करने के साथ प्रत्येक व्यक्ति तक इसकी पहुंच की सफलता दर को आसानी से बेहतर बनाना है। 10 अप्रैल 1755 को जन्मे डॉ. हैनीमैन के पास एमडी की डिग्री थी पर उन्होंने बाद में अनुवादक के रूप में कार्य करने के लिए अपनी नौकरी छोड़ दी थी। उसके बाद उन्होंने अंग्रेजी, फ्रांसीसी, इतालवी, ग्रीक, लैटिन इत्यादि कई भाषाओं में चिकित्सा, वैज्ञान की पाठ्य पुस्तकों का अध्ययन किया । इसके बाद होम्योपैथी के रूप में दुनिया के सामने नई चिकित्...
अमेरिका में मधुमक्खियों को बीमारी से बचाने के लिए वैक्सीन तैयार

अमेरिका में मधुमक्खियों को बीमारी से बचाने के लिए वैक्सीन तैयार

विदेश
न्यूयॉर्क । संयुक्त राज्य अमेरिका में मधुमक्खी पालक उद्यमियों को जल्द ही वैक्सीन उपलब्ध होने वाली है। यह वैक्सीन मधुमक्खियों को 'अमेरिकन फाउल ब्रूड' बीमारी से बचाने के लिए तैयार की गई है। इसे बायोटेक कंपनी डालान एनिमल हेल्थ ने तैयार किया है। अमेरिकी प्रशासन ने इसे मंजूरी प्रदान कर दी है। पिछले साल 2022 में इस वैक्सीन का परीक्षण हो चुका है। इसके शानदार नतीजे से कंपनी खुश है। इस वैक्सीन ने न केवल श्रमिक मक्खियों और रानी मक्खी को 'अमेरिकन फाउल ब्रूड' से मरने से बचाया, बल्कि इसने रानी मक्खी के अंडाशय में काम करके अगली पीढ़ी को प्रतिरक्षा भी प्रदान की। दरअसल 'अमेरिकन फाउल ब्रूड' मधुमक्खियों में बैक्टीरिया के जरिए फैलने वाली संक्रामक बीमारी है। इस बीमारी का रोगाणु मधुमक्खी का लार्वा है। यह एक ही जगह पर रहता और पनपता है। एक बार छत्ते में संक्रमण फैल जाए तो इससे छुटकारा पाना म...

WHO प्रमुख ने मंकीपॉक्स को लेकर चेताया, कहा- समलैंगिंक पुरुषों में बीमारी होने का खतरा ज्‍यादा

देश
जेनेवा । मंकीपॉक्स (monkeypox) को लेकर पूरी दुनिया में चिंता है. आमतौर पर मंकीपॉक्स के वायरस (virus) पहले पशु से मनुष्य में आते हैं लेकिन एक मनुष्य दूसरे मनुष्य को संक्रमित कर सकता है. यही वह डर है जिसके कारण दुनिया के स्वास्थ्य विशेषज्ञों (health experts) को चिंता है. दुनिया भर में हुए ज्यादातर रिसर्च (Research) में एक इनसान से दूसरे इनसान में मंकीपॉक्स के वायरस संक्रमित होने के प्रमुख वजह सामने आ रही है, वह चौंकाने वाला है. कई रिसर्च में कहा गया है कि मंकीपॉक्स की बीमारी उन लोगों में ज्यादा होती है जो समलैंगिंक पुरुष हैं या उनका कई पार्टनर के साथ यौन संबंध कायम हैं. अब विश्व स्वास्थ्य संगठन (डब्ल्यूएचओ) के प्रमुख ने भी बुधवार को ऐसे लोगों अपील की है कि वे यौन साथियों की संख्या सीमित करें. उन्होंने कहा कि ऐसा करने से अन्य में यह बीमारी फैलने की आशंका कम हो जाएगी. 98 प्रतिशत गे, बाइसेक्स...