भोपाल। बंगाल की खाड़ी (Bay of Bengal) में बना चक्रवाती तूफान सितरंग (cyclonic storm sitrang) बांग्लादेश के तट से टकराने के बाद कमजोर पड़ गया। मध्यप्रदेश के मौसम (Weather in Madhya Pradesh) पर इसका किसी तरह का कोई असर नहीं दिखा। मौसम विज्ञानियों के अनुसार, वर्तमान में ऐसी कोई मौसम प्रणाली सक्रिय नहीं है, जिससे मप्र का मौसम प्रभावित हो, साथ ही हवा का रुख उत्तरी (wind direction north) बना हुआ है। उत्तर भारत की तरफ से आ रही सर्द हवाओं के कारण तापमान में गिरावट होने लगी है, जिसके चलते प्रदेश में ठंड भी बढ़ गई (got too cold) है।
मौसम विभाग के मुताबिक, चक्रवाती तूफान सितरंग वर्तमान में असम के आसपास कम दबाव के क्षेत्र के रूप में बना हुआ है। इसका मप्र के मौसम पर कोई असर नहीं हुआ है। वहीं, उत्तर भारत के पहाड़ी क्षेत्रों में पिछले दिनों हुई बर्फबारी से प्रदेश में ठंड बढ़ने लगी है। हवाओं का रुख उत्तरी होने के कारण मध्यप्रदेश में रात के तापमान में गिरावट दर्ज हो रही है।
भोपाल मौसम विज्ञान केंद्र के पूर्व वरिष्ठ मौसम विज्ञानी अजय शुक्ला ने मंगलवार को बताया कि मौसम पूरी तरह शुष्क बना रहने से आसमान साफ बना हुआ है। हवाओं का रुख भी उत्तरी बना रहने के कारण सर्दी बढ़ने लगी है। अभी दो–तीन दिन तक तापमान में गिरावट होने के आसार हैं। हालांकि, उन्होंने यह भी बताया कि 30 अक्टूबर को एक पश्चिमी विक्षोभ के उत्तर भारत में पहुंचने की संभावना है। उसके प्रभाव से हवाओं का रुख बदलेगा और उसके बाद रात के तापमान में हल्की बढ़ोतरी हो सकती है।
मप्र में मंगलवार को सबसे कम 12 डिग्री सेल्सियस तापमान रायसेन एवं छिंदवाड़ा में दर्ज किया गया। राजधानी में न्यूनतम तापमान 14 डिग्री सेल्सियस रिकार्ड किया गया, जो कि शहर का इस सीजन का सबसे कम तापमान रहा। मौसम विभाग ने संभावना जताई है कि दो दिन में प्रदेश में न्यूनतम तापमान 10 डिग्री सेल्सियस तक पहुंच सकता है। (एजेंसी, हि.स.)