नई दिल्ली। खुर्जा सुपर थर्मल पावर प्लांट (केएसटीपीपी) की पहली इकाई 25 जनवरी की मध्यरात्रि से बिजली उत्पादन करने को तैयार है। सार्वजनिक क्षेत्र के लघु रत्न उद्यम टीएचडीसी इंडिया लिमिटेड ने सोमवार को 1320 मेगावाट के इस पावर प्लांट के वाणिज्यिक संचालन की घोषणा करके एक महत्वपूर्ण उपलब्धि हासिल की है। इस संयंत्र से उत्तर प्रदेश (64.7%), राजस्थान (21.3%), उत्तराखंड (3.9%) और गैर-आवंटित क्षेत्रों (10.1%) को पक्के तौर पर बिजली की आपूर्ति शुरू की जाएगी।
टीएचडीसीआईएल के अध्यक्ष और प्रबंध निदेशक आरके विश्नोई ने बताया कि केएसटीपीपी की 2×660 मेगावाट (1320 मेगावाट) की पहली इकाई वाणिज्यिक संचालन के लिए 25 जनवरी की मध्यरात्रि से तैयार है। उन्होंने कहा कि टीएचडीसीआईएल का मुख्य व्यवसाय जलविद्युत का दोहन रहा है। ऐसे में यह ऐतिहासिक उपलब्धि कंपनी की क्षमताओं का एक महत्वपूर्ण प्रदर्शन है। उन्होंने कहा कि इस इकाई के सफलतापूर्वक चालू होने के साथ ही टीएचडीसीआईएल राष्ट्र के विकास को गति देने तथा इसके सतत ऊर्जा भविष्य में योगदान देने में और भी अधिक महत्वपूर्ण भूमिका निभाने के लिए तैयार है।
इस परियोजना की आधारशिला प्रधानमंत्री ने रखी थी। वर्तमान में ग्रिड के साथ समन्वय, पूर्ण लोड परीक्षण (660 मेगावाट) और पूर्ण लोड पर 72 घंटे के लिए ट्रायल पहले ही पूरा हो चुका है। वाणिज्यिक संचालन की तिथि की घोषणा (सीओडी) इसका एक अहम पड़ाव है। यह आधिकारिक तौर पर उस बिंदु को चिह्नित करता है, जब संयंत्र को व्यावसायिक रूप से चालू और ग्रिड को बिजली पैदा करने और आपूर्ति करने में सक्षम माना जाता है। इसके अनिवार्य रूप से वाणिज्यिक संचालन दर्शाता है कि यह संयंत्र सभी आवश्यक परीक्षणों और जांच में खरा उतरा है और विद्युत प्रणाली में योगदान करने के लिए तैयार है।