बॉलीवुड की मशहूर गायिकाओं में शुमार गायिका ऋचा शर्मा का जन्म 29 अगस्त 1974 को हरियाणा के फरीदाबाद में हुआ था। उनके पिता पंडित दयाशंकर उपाध्याय कथा वाचक थे। अपनी बेटी ऋचा को देखकर उन्होंने अनुमान लगा लिया था कि ऋचा आगे चलकर सिंगर बनेंगी। वह ऋचा को हर सुबह संगीत का रियाज करवाने के साथ ही मेहनत करके आगे बढ़ने की सीख भी देते थे। ऋचा ने अपने पिता की इस सीख को जेहन में बैठाया और मेहनत करने लगी।
ऋचा का बचपन फरीदाबाद मे ही गुजरा, लेकिन उच्च शिक्षा के लिए वह दिल्ली आ गई। संगीत में रुचि होने के कारण ऋचा ने यहां गन्धर्व विद्यालय में दाखिला लिया और संगीत की शिक्षा लेने लगीं। इसके बाद ऋचा अच्छे निर्देशकों के सामने अपनी प्रतिभा प्रस्तुत करने की उम्मीद लिए 1995 मे मुंबई आ गईं। यहां उन्होंने कई ऑडिशन्स दिए, लेकिन कहीं से कोई जवाब नहीं मिला। इस दौरान निर्देशक सावन कुमार की एक फिल्म आने वाली थी, जिसके लिए उन्होंने माता की चौकी लगाई। उस माता की चौकी में ऋचा ने कई भजन गाए।
इस दौरान वहां पर आशा भोंसले, लक्ष्मीकांत प्यारेलाल और आदेश श्रीवास्तव जैसे दिग्गज मौजूद थे। सावन कुमार को ऋचा के गाये भजन पसंद आए, जिसके बाद उन्होंने ऋचा को अपनी फिल्म ‘सलमा पे दिल आ गया’ में गाने का मौका दिया। लोगों को उनकी आवाज पसंद आई और उन्हें कई गानों के ऑफर मिलने शुरू हो गए। ऋचा ने 1999 में आई फिल्म ‘ताल’ में एआर रहमान के लिए ‘नी मैं समझ गई’ जब गाया, तो उस गाने को खूब सराहना मिली और वह रातों-रात मशहूर हो गईं। यानी यह गाना ऋचा की जिंदगी का टर्निंग प्वाइंट साबित हुआ। इसके साथ ही ऋचा बॉलीवुड की मशहूर सिंगर बन गईं।
ऋचा ने बॉलीवुड की कई फिल्मो में हिट गाने दिए हैं जिनमें माही वे…’, ‘बिल्लो रानी कहो तो…’, ‘चार दिनों द प्यार ओ रब्बा…’, ‘जिंदगी में कोई कभी आए न रब्बा…’ और ‘जोर का झटका हाय जोरों से लगा…’ शामिल है। ऋचा ने बहुत कम समय में अपनी मेहनत और गायकी की बदौलत संगीत की दुनिया में एक मुकाम हासिल किया है। उनके गानों को दर्शक खूब पसंद करते हैं। ऋचा टेलीविजन के कई सिंगिंग शो में जज की भूमिका में भी नजर आ चुकी हैं। आज ऋचा के चाहने वालों की संख्या लाखों में है। ऋचा गायकी के साथ-साथ सोशल मीडिया पर भी सक्रिय रहती हैं और उनकी फैन फोलोइंग की लिस्ट काफी लम्बी है।