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वित्त मंत्रालय ने अनुदान की अंतिम अनुपूरक मांग के लिए व्यय प्रस्ताव मांगे

– संसद का दो चरणों में होने वाला बजट सत्र 31 जनवरी से शुरू होगा

नई दिल्ली (New Delhi)। वित्त मंत्रालय (Finance Ministry) ने संसद के बजट सत्र (budget session of parliament) से पहले विभिन्न मंत्रालयों और विभागों से अनुदान की दूसरी और अंतिम अनुपूरक मांगों (supplementary demands for grants) को लेकर व्यय प्रस्ताव देने को कहा है। संसद का दो चरणों में होने वाला बजट सत्र 31 जनवरी से शुरू होगा।

वित्त मंत्रालय की ओर से बुधवार को जानकारी दी गई कि वित्त वर्ष 2022-23 के लिए अनुदान की अनुपूरक मांगों के अंतिम बैच को संसद के आगामी सत्र में रखे जाने का प्रस्ताव है। अनुदान की अनुपूरक मांगों के लिए प्रस्ताव को अतिरिक्त कोष की जरूरतों के गहन मूल्यांकन के बाद पेश किया जा सकता है। इन मांगों के तहत आने वाले मामलों में भारत की आकस्मिक निधि से वे अग्रिम शामिल हैं, जिसकी मंजूरी दे दी गई है।

मंत्रालय ने सभी मंत्रालयों और विभागों से अनुरोध किया है कि वे स्वीकृत संशोधित अनुमान सीमा के तहत खर्च को नियंत्रित करें। अनुदान की अंतिम अनुपूरक मांगों को दूसरे चरण में पेश किया जाने की संभावना है। अंतिम बैच में शामिल की जाने वाली पूरक मांगों को उचित ठहराने वाले प्रस्तावों को 10 फरवरी तक वित्त मंत्रालय के बजट विभाग को भेजा जा सकता है।

संसद ने पिछले महीने अनुदान की पूरक मांग के पहले बैच को मंजूरी दी थी। इसके जरिये 3.25 लाख करोड़ रुपये के अतिरिक्त व्यय की अनुमति दी गयी थी। इसमें उर्वरक सब्सिडी मद में 1.09 लाख रुपये का प्रावधान शामिल था। (एजेंसी, हि.स.)