भोपाल! माननीय प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी जी द्वारा वर्ष 2014 में स्वतंत्रता दिवस के अवसर पर अपने उद्बोधन में महिलाओं की सुरक्षा के संबंध में माता-पिताओं से आव्हान किया गया था कि जिस प्रकार आप अपनी बेटियों को कहीं भी आने-जाने में रोकटोक करते हैं, उसी प्रकार क्या कभी बेटों के लिये यह प्रयास किया है। अगर हर मां-बाप तय करे कि हमने बेटियों पर जितने बंधन डाले हैं, कभी बेटों पर भी डाल करके देखो तो सही, उसे कभी पूछो तो सही। कानून अपना काम करेगा, लेकिन मां-बाप भी अपनी जिम्मेदारी समझें।
माननीय प्रधानमंत्री जी एवं मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान की मंशानुसार महिला अपराधों की रोकथाम हेतु पुलिस महानिदेशक श्री सुधीर कुमार सक्सेना के मार्गदर्शन एवं अतिरिक्त पुलिस महानिदेशक (महिला सुरक्षा) श्रीमती प्रज्ञा ऋचा श्रीवास्तव के दिशा-निर्देशन में बालकों / पुरूषों को जागरूक करने हेतु “अभिमन्यु” जागरूकता अभियान संचालित किया जा रहा है। अभियान का मुख्य उद्देश्य बालकों / पुरुषों को लैंगिक समानता एवं संस्कारों का ज्ञान दिया जाकर महिलाओं के प्रति संवेदनशील बनाने का प्रयास करना है। प्रथम चरण में दिनांक 12.06.2023 से 19.08.2023 तक यह विशेष जागरुकता अभियान प्रदेश के समस्त जिलों में संचालित किया जा रहा है। जिसके अन्तर्गत महिला सुरक्षा शाखा, पुलिस मुख्यालय द्वारा तैयार किया गया अभियान के शुभंकर ‘अभिमन्यु’ का कटआउट का सेल्फी पाईण्ट जिलों के प्रमुख स्थानों पर लगाया गया है। कट आउट के साथ महिला हेल्पलाईन नंबरों का प्रचार-प्रसार भी किया जा रहा है। अभियान के दौरान शुभंकर ‘अभिमन्यु’ के कटआउट एवं फ्लैक्स लगाकर आमजन को लैंगिक भेदभाव दूर कर महिलाओं को उनकी योग्यता अनुरुप समान अवसर उपलब्ध कराने संबंधी शपथ दिलाई जा रही है।
अभियान का शुभंकर-
इस अभियान का शुभंकर 16 से 25 वर्षीय एक शिक्षित एवं संस्कारवान युवक है जो सामाजिक बुराईयों के चक्रव्युह जैसे- अशिक्षा, नशा, अश्लीलता, दहेज, भ्रूण हत्या, असंवेदनशीलता, रूढ़िवादिता एवं पूर्वाग्रह को तोड़कर शिक्षा एवं लैंगिक समानता के आधार पर समाज में महिलाओं को सहअस्तित्व प्रदान करता है।
अभिमन्यु नाम इसलिये क्योंकि अभिमन्यु ने माँ के गर्भ में रहकर माता-पिता से चक्रव्युह तोड़ने का ज्ञान प्राप्त किया था। वर्तमान समय का अभिमन्यु जानता है कि नशा करना, दहेज प्रथा, भ्रूण हत्या, घरेलू हिंसा, सोशल मीडिया पर फैली अश्लीलता जैसी बुराईयां समाज में महिला सम्मान व सुरक्षा के विरुद्ध है। वह यह भी जानता है कि शिक्षित एवं संस्कारवान महिला पुरुष किसी भी समाज के स्वस्थ सुरक्षित वातावरण एवं उन्नति का परिचायक है। यह अभियान युवाओं को बेहतर समाज के निर्माण में उनकी भूमिका को दिशा प्रदान करने का एक प्रयास है।